गुरुद्वारा बंगला साहिब का इतिहास और अन्य महत्वपूर्ण जानकारी!

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Gurudwara bangla sahib delhi: गुरुद्वारा बंगला साहिब भारत में सबसे प्रमुख सिख पूजा घर है। यह आठवें सिख गुरु, गुरु हर कृष्ण और उनके साथ जुड़े इसके अंदर स्थित तालाब (सरोवर) के लिए जाना जाता है। 

गुरुद्वारा बंगला साहिब का इतिहास

बंगला साहिब गुरुद्वारा के संक्षिप्त इतिहास के बारे में बात करें तो. मूल रूप से यह मिर्जा राजा जयसिंह का बंगला ( हवेली ) था और इसका नाम जयसिंह पुरा पैलेस था। राजा की हवेली होने के नाते इसका नाम “बंगला साहिब” पड़ा। राजपूत मिर्जा राजा मुगल सम्राट औरंगजेब के महत्वपूर्ण सैन्य नेता और उनके दरबार एक विश्वसनीय सदस्य थे। यह बंगला मिर्जा राजा जयसिंह ने सिखों के आठवें गुरू हर कृष्ण जी को दान कर दिया था। वर्ष 1664 में चेचक महामारी फैली थी, तब गुरू जी गुरुद्वारा में स्थित सरोवर का पानी पिलाकर दिल्ली के लोगों को बचाया था। इस बंगला को 1783 में गुरू साहिब की याद में गुरुद्वारा में बदल दिया गया था। फिर इसे गुरुद्वारा बंगला साहिब कहा जाने लगा। 

गुरुद्वारा बंगला साहिब के टिकट की कीमत और खुलने का समय

गुरुद्वारा एक धार्मिक स्थल होने के नाते इसमें प्रवेश निशुल्क है। इसलिए टिकट लेने की आवश्यकता नहीं है।
खुलने का समय : गुरुद्वारा साल भर 24 घंटे खुला रहता है।

गुरुद्वारा बंगला साहिब दिल्ली कैसे पहुंचे?

दिल्ली मेट्रो : गुरुद्वारा तक पहुंचने का सबसे सुविधाजनक विकल्प दिल्ली मेट्रो है। गुरुद्वारा बंगला साहिब नियर मेट्रो स्टेशन शिवाजी स्टेडियम (एयरपोर्ट लाइन) 450 मीटर, राजीव चौक (ब्लू/येलो लाइन) 1.3 किमी और केन्द्रीय सचिवालय (वायलेट/येलो लाइन) 1.5 किमी दूर स्थित हैं।
दिल्ली मेट्रो के अलावा आप ऑटो रिक्शा, e-रिक्शा या ऐप्प आधारित टेक्सी (ola/uber) और डीटीसी बस से भी आ सकते हैं।

गुरुद्वारा बंगला साहिब के पास अन्य घूमने की जगह

1. राष्ट्रीय डाक टिकट संग्रहालय: गुरुद्वारा से 750 मीटर दूर स्थित राष्ट्रीय डाक टिकट संग्रहालय भारत और दुनिया भर के टिकटों का विशाल संग्रह है। यह समय के साथ टिकट डिजाइन और उत्पादन के ऐतिहासिक महत्व को दर्शाता है।

 2. जंतर मंतर: बंगला साहिब गुरुद्वारा से 950 मीटर दूर स्थित जंतर मंतर 18वीं में निर्मित एक खगोलीय वैद्यशाला है। इसमें समय को मापने, आकाशीय पिंडो को ट्रैक करने और खगोल विज्ञान के अध्ययन करने के लिए डिजाइन किए गए कई वास्तुशिल्प उपकरण सामिल हैं। जंतर मंतर दुनियाभर के पर्यटकों, विद्वानों और वैज्ञानिकों को आकर्षित करता है।

3. मेट्रो म्यूजियम: मेट्रो संग्रहालय बंगला साहिब गुरुद्वारा से 950 मीटर दूर स्थित पटेल चौक मेट्रो स्टेशन के भीतर स्थित एक आकर्षक संग्रहालय है। यह दिल्ली की मेट्रो प्रणाली के इतिहास और विकास को प्रदर्शित करता है। यह भारत के आधुनिक परिवहन और इंजीनियरिंग के बारे में जानकारी के लिए शानदार जगह है।

4. चरखा संग्रहालय: बंगला साहिब गुरुद्वारा से 1.3 किमी दूर स्थित चरखा संग्रहालय एक अनूठा संग्रहालय है जो चरखे के इतिहास और महत्व को प्रदर्शित करता है। चरखा संग्रहालय भारत संस्कृति, इतिहास और वस्त्र उद्योग में रुचि रखने वाले किसी भी व्यक्ति के लिए एक उत्कृष्ट गंतव्य है।

5. पालिका बाजार: गुरुद्वारा से 1.5 किमी दूर स्थित  पालिका बाजार एक भूमिगत बाजार है, जिसमें कपड़े, जूते, इलेक्ट्रॉनिक, समान और बहुत कुछ सहित उत्पाद बेचने वाली सैकड़ों दुकानें हैं। यह बाजार सस्ते उत्पाद और सौदेबाजी की संस्कृति के लिए जाना जाता है।

6. सेंट्रल पार्क: सेंट्रल पार्क बंगला साहिब गुरुद्वारा से 1.5 किमी दूर स्थित है। सेंट्रल पार्क एक लोकप्रिय शहरी पार्क है, जो सभी उम्र के पर्यटकों को आकर्षित करता है। पार्क में हरे भरे परिदृश्य, जॉगिंग ट्रेक, फव्वारे और बैठने की जगह है। पार्क विभिन्न मनोरंजक कार्यक्रम होते रहते हैं।

दिल्ली में बंगला साहिब गुरुद्वारा कहां पर है?

बंगला साहिब गुरुद्वारा दिल्ली के कनॉट प्लेस में स्थित है। गूगल मैप पर लोकेशन देखने के लिए ‘view larger map’ पर क्लिक करें।

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