Dwarkadhish mandir mathura: द्वारकाधीश मंदिर मथुरा शहर के सबसे पुराने और बड़े मंदिरों में से एक है। वर्तमान में स्थित मंदिर का निर्माण 1814 में तत्कालीन ग्वालियर के कोषाध्यक्ष सेठ गोकुल दास ने महाराजा दौलतराव सिंधिया की स्वीकृति और दान से करवाया था।
द्वारकाधीश मंदिर मथुरा में श्री कृष्ण की पूजा द्वारका के राजा के रूप में की जाती है। मंदिर में श्री कृष्ण की मूर्ती काले पत्थर से और राधा रानी की सफेद पत्थर से बनी मूर्ती मुख्य देवता के रूप में स्थापित है। मंदिर की वास्तुकला इतनी सुंदर है कि आप पहली बार इस विशाल सरचना के आकर्षण और समृद्धि को देखकर आश्चर्यचकित रह जाएंगे।
मथुरा द्वारकाधीश मंदिर खुलने का समय
द्वारकाधीश मंदिर के बाहर लगे बोर्ड के अनुसार मंदिर की आरती, श्रंगार और राजभोग का समय सर्दियों और गर्मियों में अलग अलग है, जो निम्नलिखित है:
ग्रीष्मकाल: रामनवमी से देवोत्थान एकादशी तक | |
प्रातः काल | |
मंगला आरती | 6:30am से 7:00am |
श्रंगार | 7:40am से 7:55am |
ग्वाल | 8:25am से 8:40am |
राजभोग | 10:00am से 11:00am |
सायं काल | |
उत्थापन | 4:00pm से 4:20pm |
भोग | 4:45pm से 5:05pm |
संध्या आरती | 5:20pm से 5:40pm |
शयन | 6:30pm से 7:30pm |
शीतकाल: देवोत्थान एकादशी से रामनवमी तक | |
प्रातः काल | |
मंगला आरती | 6:30am से 7:00am |
श्रंगार | 7:40am से 7:55am |
ग्वाल | 8:25am से 8:40am |
राजभोग | 10:00am से 11:00am |
सायं काल | |
उत्थापन | 3:30pm से 3:50pm |
भोग | 4:20pm से 4:40pm |
संध्या आरती | 4:55pm से 5:10pm |
शयन | 6:00pm से 7:00pm |
द्वारकाधीश मंदिर मथुरा कैसे पहुंचें?
द्वारकाधीश मंदिर मथुरा परिवहन के विभिन्न माध्यमों द्वारा पहुंचा जा सकता है, जो निम्नलिखित हैं:
वायु मार्ग: आगरा के हवाई अड्डा मंदिर से लगभग 60 किमी और दिल्ली में स्थित इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा 150 किमी दूर है। हवाई अड्डे से बस, ट्रेन या निजी कैब करके भी पहुंच सकते हैं।
रेल मार्ग: द्वारकाधीश मंदिर मथुरा जंक्शन रेलवे स्टेशन (MTJ) मंदिर से 3.5 किमी दूर स्थित है। मथुरा जंक्शन को देश के लगभग सभी प्रमुख रेलवे स्टेशनों से जोड़ता है। स्टेशन से बाहर निकलते ही मंदिर पहुचने के लिए e-रिक्शा और ऑटो रिक्शा मिल जाते हैं।
सड़क मार्ग: मंदिर से 2 किमी दूर उत्तर प्रदेश सड़क परिवहन का बस स्टैंड है, जहां से उत्तर के अन्य शहरों, दिल्ली और पड़ोसी राज्यों से जुड़ा हुआ है। बस स्टैंड से मंदिर के लिए e-रिक्शा और ऑटो रिक्शा आसानी से मिल जाते हैं।
द्वारकाधीश मंदिर मथुरा के दर्शन करते समय ध्यान रखने योग्य बातें
1. मंदिर परिसर में बैग ले जाना वर्जित है। मंदिर के गेट के एक तरफ जूता/चप्पल व बैग रखने के लिए स्टैंड उपलब्ध हैं। जूता/चप्पल स्टैंड पर ही उतारें।
2. परिसर में पवित्रता और मर्यादा बनाए रखें।
द्वारकाधीश मंदिर मथुरा के पास अन्य आकर्षण
विश्राम घाट: विश्राम घाट द्वारकाधीश मंदिर के रास्ते पर आगे चलकर लगभग 500 मी दूर स्थित है। एक कथा के अनुसार विश्राम घाट वह जगह है जहां श्री कृष्ण ने मामा कंश को मारने के बाद विश्राम किया था।
मथुरा संग्रहालय: मथुरा संग्रहालय द्वारकाधीश मंदिर से 1.5 किमी दूर शहीद भगत सिंह पार्क के पास स्थित है। संग्रहालय में मथुरा की संस्कृति को प्रदर्शित करता है। इसमें लगभग 2000 साल पुराने अवशेष देखने को मिलते हैं।
श्री कृष्ण जन्मभूमि: द्वारकाधीश मंदिर से लगभग 2 किमी दूर स्थित श्री कृष्ण जन्मभूमि मंदिर श्री कृष्ण का जन्मस्थान है। मंदिर मथुरा के सबसे प्रसिद्ध मंदिरों में से एक है।
भूतेश्वर महादेव मंदिर: भूतेश्वर महादेव मंदिर द्वारकाधीश मंदिर से मथुरा जंक्शन और रोडवेज बस स्टैंड के रास्ते पर 3.5 किमी दूर स्थित है। यह भगवान शिव को समर्पित मंदिर है। भूतेश्वर महादेव को मथुरा के राजा के रूप में जाना जाता है।
मथुरा में द्वारकाधीश मंदिर कहां है?
मथुरा में द्वारकाधीश मंदिर विश्राम घाट के पास पाठक गली पर स्थित है। गूगल मैप पर लोकेशन देखने के लिए ‘view larger map’ पर क्लिक करें।